NCERT MATHS FOR CLASS 10 IN HINDI
CHAPTER-5 समान्तर श्रेढियाँ
प्रश्नावली 5.3
प्रश्न 1: निम्नलिखित समान्तर श्रेढियों का योग ज्ञात कीजिए :
(i) 2, 7, 12, ….,10 पदों तक
हल: दी गई A.P.से
a=2, d=7−2=5 और n=10
हम जानते है कि
S=5[4+45]=5×49=245
अतः दी हुई A.P. के प्रथम 10 पदों का योग 245 है।
प्रश्न 1: (ii) -37, -33, -29, ….,12 पदों तक
हल: दी गई A.P.से
a=−37, d=−33−(−37)=4 और n=12
हम जानते है कि
S=6[−74+44]=6×(−30)=−180
अतः दी हुई A.P. के प्रथम 12 पदों का योग −180 है।
प्रश्न 1: (iii) 0.6, 1.7, 2.8, …., 100 पदों तक
हल: दी गई A.P.से
a=0.6, d=1.7−0.6=1.1 और n=100
हम जानते है कि
S=50[1.2+108.9]=50×110.1=5505
अतः दी हुई A.P. के प्रथम 100 पदों का योग 5505 है।
प्रश्न 1: पदों तक
हल: दी गई A.P.से
और n=11
हम जानते है कि
अतः दी हुई A.P. के प्रथम 11 पदों का योग निम्न है-
प्रश्न 2: नीचे दिए हुए योगफलों को ज्ञात कीजिए :
हल: दी गई A.P. से
a=7, an=84
सूत्र an=a+(n−1)d से
∴ n=22+1=23
अब हम जानते है कि
प्रश्न 2: (ii) 34+32+30+….+10
हल: दी गई A.P. से
a=34, an=10
d=32−34=−2
सूत्र an=a+(n−1)d से
10=34+(n−1)(−2)
(n−1)(−2)=10−34=−24
∴ n=12+1=13
अब हम जानते है कि
∴ S13=13×22=286
प्रश्न 2: (iii) -5 +(-8)+(-11)+….+(-230)
हल: दी गई A.P. से
a=−5, an=−230
d=−8−(−5)=−3
सूत्र an=a+(n−1)d से
−230=−5+(n−1)(−3)
(n−1)(−3)=−230+5=−225
∴ n=75+1=76
अब हम जानते है कि
∴ S76=−8930
प्रश्न 3: एक A.P. में
(i) a=5 ,d=3 और an =50 दिया है। n और Sn ज्ञात कीजिए।
हल: सूत्र an=a+(n−1)d से
50=5+(n−1)(3)
(n−1)(3)=50−5
n−1=45/3=15
∴ n=15+1=16
हम जानते है कि
=8[10+45]=8×55
∴S16=440
प्रश्न 3: (ii) a=7 और a13 =35 दिया है। d और S13 ज्ञात कीजिए।
हल: सूत्र an=a+(n−1)d से
(यहां आप ध्यान रखें कि an की जगह a13 दिया है अतः n का मान 13 होगा।)
35=7+(13−1)d
12d=35−7
हम जानते है कि
प्रश्न 3: (iii) a12 =37 और d=3 दिया है। a और S12 ज्ञात कीजिए।
हल: सूत्र an=a+(n−1)d से
(यहां आप ध्यान रखें कि an की जगह a12 दिया है अतः n का मान 12 होगा।)
37=a+(12−1)(3)
a+33=37
∴ a=37−33=4
हम जानते है कि
S12=6[8+33]=6×41
∴ S12=246
प्रश्न 3: (iv) a3 =15 और S10=125 दिया है। d और a10 ज्ञात कीजिए।
हल: सूत्र an=a+(n−1)d से
(यहां आप ध्यान रखें कि an की जगह a3 दिया है अतः n का मान 3 होगा।)
15=a+(3−1)d
a+2d=15 …(1)
हम जानते है कि
(यहां आप ध्यान रखें किsn की जगह S10 दिया है अतः n का मान 10 होगा।)
125=5[2a+9d]
2a+9d=25 ….(2)
समी.(1) को 2 से गुणा करके ,इसमें से समी.(2) को घटाने पर
d का मान समी.(1) में रखने पर
a+2(-1)=15
∴ a=15+2=17
अब हम जानते है कि
a10=a+9d
∴ a10=17+9(-1)
=17−9=8
प्रश्न 3: (v) d=5 और S9 =75 दिया है। a और a9 ज्ञात कीजिए।
हल: हम जानते है कि
(यहां आप ध्यान रखें कि Sn की जगह S9 दिया है अतः n का मान 9 होगा।)
75×2=9[2a+40]
पुनः हम जानते है कि
a9=a+8d
प्रश्न 3: (vi) a=2 ,d=8 और Sn =90 दिया है। n और an ज्ञात कीजिए।
हल: हम जानते है कि
4n2−2n−90=0
प्रत्येक पद में 2 का भाग देने पर
2n2−n−45=0
मध्य पद को विभक्त करने पर
2n2−10n+9n−45=0
2n(n−5)+9(n−5)=0
(n−5)(2n+9)=0
यहाँ या तो n−5=0 या 2n+9 =0
या तो n=5 या n=−9/2
परन्तु n का मान एक पूर्ण संख्या ही हो सकता है।
अतः n=5 होगा।
अब सूत्र an=a+(n−1)d से
a5=2+(5−1)(8)
∴ a5=2+32=34
प्रश्न 3: (vii) a=8 ,an =62 और Sn =210 दिया है। n और d ज्ञात कीजिए।
हल: सूत्र an=a+(n−1)d से
62=8+(n−1)d
(n−1)d=62−8
(n−1)d=54 …(1)
पुनः हम जानते है कि
420=n[16+54] [समी. (1) से ]
या 70n =420
n=6 समी.(1) में रखने पर
(6−1)d=54
5d=54
प्रश्न 3: (viii) an =4 ,d=2 और Sn =−14 दिया है। n और a ज्ञात कीजिए।
हल: सूत्र an=a+(n−1)d से
परन्तु an =4
∴ a+(n−1)(2)=4
या a+2n−2=4
a+2n=6
⇒ a=6−2n …(1)
पुनः हम जानते है कि
[समी.(1) से ]
−14=n[6−2n+n−1]
n[5−n]=−14
5n−n2+14=0
n2−5n−14=0
मध्य पद को विभक्त करने पर
n2+2n−7n−14=0
n(n+2)−7(n+2)=0
(n+2)(n−7)=0
यहाँ या तो n+2=0 या n−7 =0
या तो n=−2 या n=7
परन्तु n का मान एक ऋणात्मक संख्या नहीं हो सकती है।
अतः n=7 होगा।
n का मान समी.(1) में रखने पर
a=6−2(7)=6−14
∴ a=−8
प्रश्न 3: (ix) a=3 ,n=8 और S =192 दिया है। d ज्ञात कीजिए।
हल: हम जानते है कि
192=4[3+an]
⇒ an =48−3 =45
सूत्र an=a+(n−1)d से
45=3+(8−1)d
7d=45−3
प्रश्न 3: (x) l=28 ,S=144 और कुल 9 पद है। a ज्ञात कीजिए।
हल: दिया है –
l=28 ,S=144 और n=9
हम जानते है कि
288=9[a+28]
∴ a=32−28
⇒a=4
प्रश्न 4: 636 योग प्राप्त करने के लिए ,A.P. : 9, 17, 25,….के कितने पद लेने चाहिए ?
हल: दी गई A.P. से
a=9, d=17−9=8 तथा Sn=636
n=?
हम जानते है कि
636 =n[9+4n−4]=n[4n+5]
0= 4n2+5n−636
4n2+5n−636=0
मध्य पद को विभक्त करने पर
4n2+53n−48n−636=0
n(4n+53)−12(4n+53)=0
(4n+53)(n−12)=0
यहाँ या तो 4n+53=0 या n−12 =0
या तो n=−53/4 या n=12
चूँकि n का मान केवल धनात्मक पूर्णांक ही हो सकता है।
अतः n=12 होगा।
अतः 636 योग प्राप्त करने के लिए ,A.P.: 9, 17, 25,..के 12 पद लेने चाहिए।
प्रश्न 5: किसी A.P. का प्रथम पद 5, अंतिम पद 45 और योग 400 है। पदों की संख्या
और सार्व अंतर ज्ञात कीजिए।
हल: दिया है –
a=5, an (या l)=45 तथा Sn=400
n=? , d=?
हम जानते है कि
400=n[25]
सूत्र an=a+(n−1)d से
45=5+(16−1)d
15d=45−5=40
प्रश्न 6: किसी A.P. के प्रथम और अंतिम पद क्रमशः 17 और 350 है। यदि सार्व अंतर
9 है ,तो इसमें कितने पद है और इनका योग क्या है ?
हल: दिया है –
a=17, an(या l)=350, तथा d=9
n=?, Sn=?
सूत्र an=a+(n−1)d से
350=17+(n−1)(9)
(n−1)(9)=350−17=333
∴ n=37+1=38
हम जानते है कि
∴ S38=6973
अतः दी गई A.P. में 38 पद है और इनका योग 6973 है।
प्रश्न 7: उस A.P. के प्रथम 22 पदों का योग ज्ञात कीजिए जिसमें d=7 है और 22वाँ पद
149 है।
हल: दिया है –
n=22, a22(या l)=149, तथा d=7
S22=?
सूत्र an=a+(n−1)d से
149=a+(22−1)(7)
a+147=149
∴ a=149−147=2
हम जानते है कि
∴ S22=1661
अतः A.P.के प्रथम 22 पदों का योग 1661 है।
प्रश्न 8: उस A.P. के प्रथम 51 पदों का योग ज्ञात कीजिए ,जिसके दूसरे और तीसरे पद
क्रमशः 14 और 18 है।
हल: दिया है –
n=51
a2=a+d=14 ….(1)
a3=18
तथा d = a3− a2
d=18−14 =4
d का मान समी.(1) में रखने पर
a+4=14
∴ a=14−4=10
हम जानते है कि
S51=51[10+100]=51[110]
∴ S51=5610
अतः A.P. के प्रथम 51 पदों का योग 5610 है।
प्रश्न 9: यदि किसी A.P.के प्रथम 7 पदों का योग 49 है और प्रथम 17 पदों का योग 289
है ,तो इसके प्रथम n पदों का योग ज्ञात कीजिए।
हल: दिया है –
S7=49, तथा S17=289
हम जानते है कि
2a+6d=14
प्रत्येक पद में 2 का भाग देने पर
a+3d=7 ….(1)
पुनः
2a+16d=34
प्रत्येक पद में 2 का भाग देने पर
a+8d=17 ….(2)
समी.(2) में से समी.(1) घटाने पर
d का मान समी.(1) में रखने पर
a+3(2)=7
∴ a=7−6=1
अतः प्रथम n पदों का योग –
Sn= n2
प्रश्न 10: दर्शाइए कि a1, a2,…, an ,….से एक A.P.बनती है ,यदि an नीचे दिए अनुसार
परिभाषित है :
(i) an=3+4n (ii) an=9−5n
साथ ही प्रत्येक स्थिति में ,प्रथम 15 पदों का योग ज्ञात कीजिए।
हल (i): दिया है –
an=3+4n …(1)
समी.(1) में क्रमशः n=1, 2, 3, 4,.. रखने पर
a1=3+4(1)=7
a2=3+4(2)=11
a3=3+4(3)=15
a4=3+4(4)=19
. .. .
. .. .
इस प्रकार प्राप्त श्रेढ़ी निम्न है –
7, 11, 15, 19, ….
अब यदि यह श्रेढ़ी A.P. है तो सार्व अंतर समान होना चाहिए।
a2− a1=11-7=4
a3− a2=15-11=4
a4− a3=19-15=4
उपरोक्त हल से स्पष्ट है कि श्रेढ़ी A.P. है।
प्रथम n पदों का योग –
S15=15[7+28]
∴ S15=15×35=525
अतः प्राप्त A.P. के प्रथम 15 पदों का योग 525 होगा।
प्रश्न 10:हल (ii): दिया है –
an=9−5n …(1)
समी.(1) में क्रमशः n=1, 2, 3, 4,.. रखने पर
a1=9−5(1)=4
a2=9−5(2)=−1
a3=9−5(3)=−6
a4=9−5(4)=−11
. .. .
. .. .
इस प्रकार प्राप्त श्रेढ़ी निम्न है –
4, −1, −6, −11, …..
अब यदि यह श्रेढ़ी A.P. है तो सार्व अंतर समान होना चाहिए।
a2− a1=−1−4=−5
a3− a2=−6−(−1)=−5
a4− a3=−11−(−6)=−5
उपरोक्त हल से स्पष्ट है कि श्रेढ़ी A.P. है।
प्रथम n पदों का योग –
S15=15×(-31)=−465
अतः प्राप्त A.P. के प्रथम 15 पदों का योग −465 होगा।
प्रश्न 11: यदि किसी A.P.के प्रथम n पदों का योग 4n−n2 है ,तो इसका प्रथम पद
(अर्थात S1) क्या है ?प्रथम दो पदों का योग क्या है ? दूसरा पद क्या है ? इसी प्रकार,
तीसरे ,10वें और nवें पद ज्ञात कीजिए।
हल: दिया है –
Sn=4n−n2 ….(1)
समी.(1) में n=1 रखने पर
S1=4(1)−(1)2 =4−1=3
अतः A.P. का प्रथम पद a1 =3 है।
समी.(1) में n=2 रखने पर
S2=4(2)−(2)2 =8−4=4
अतः A.P. के प्रथम दो पदों का योग 4 है।
समी.(1) में n=(n-1) रखने पर
Sn-1=4(n-1)−(n-1)2 =4n−4−(n2−2n+1)
⇒Sn-1=4n−4−n2+2n−1=−n2+6n−5….(2)
A.P.का nवाँ पद –
an= Sn− Sn-1
समी.(1) व (2) से मान रखने पर
an=4n−n2−(−n2+6n−5)
= 4n−n2+n2−6n+5
⇒ an=5−2n ….(3)
समी.(3) में क्रमशः n=2 ,3 व 10 रखने पर
a2=5−2(2)=5−4=1
a3=5−2(3)=5−6=−1
a10=5−2(10)=5−20=−15
प्रश्न 12: ऐसे प्रथम 40 धन पूर्णांकों का योग ज्ञात कीजिए जो 6 से विभाज्य है।
हल: प्रथम 40 धन पूर्णांक जो 6 से विभाज्य है-
6, 12, 18, 24, …..40 पदों तक
यह एक A.P. है ,जहां
a=6 , d=6 , n=40
हम जानते है कि
=20[12+234]
=20[246]
∴ S40=4920
अतः प्रथम 40 धन पूर्णांकों का योग जो 6 से विभाज्य है, 4920 होगा।
प्रश्न 13: 8 के प्रथम 15 गुणजों का योग ज्ञात कीजिए।
हल: 8 के प्रथम 15 गुणज –
8, 16, 24, 32,…. 15 पदों तक
यह एक A.P. है ,जहां
a=8 , d=8 , n=15
हम जानते है कि
⇒S15=15×4[16]=960
अतः 8 के प्रथम 15 गुणजों का योग 960 होगा।
प्रश्न 14: 0 और 50 के बीच की विषम संख्याओं का योग ज्ञात कीजिए।
हल: 0 और 50 के बीच की विषम संख्याएँ –
1, 3, 5, 7, …., 49
यह एक A.P. है ,जहां
a=1 , d=2 , an=49 , n=?
सूत्र an=a+(n−1)d से
49=1+(n−1)(2)
(n−1)(2)=49−1=48
∴ n=24+1=25
अब हम जानते है कि
∴ S25=625
अतः 0 और 50 के बीच की विषम संख्याओं का योग 625 है।
प्रश्न 15: निर्माण कार्य से संबंधित किसी ठेके में ,एक निश्चित तिथि के बाद कार्य को विलम्ब
से पूरा करने के लिए ,जुर्माना लगाने का प्रावधन इस प्रकार है : पहले दिन के लिए 200 रु
दूसरे दिन के लिए 250 रु, तीसरे दिन के लिए 300 रु इत्यादि ,अर्थात प्रत्येक उत्तरोत्तर
दिन का जुर्माना अपने से ठीक पहले दिन के जुर्माने से 50 रु अधिक है। एक ठेकेदार को
जुर्माने के रूप में कितनी राशि अदा करनी पड़ेगी ,यदि वह इस कार्य में 30 दिन का
विलम्ब कर देता है ?
हल: प्रत्येक दिन के लिए निर्धारित जुर्माना निम्नानुसार है –
200, 250, 300, 350,…..
यहाँ a=200, d=250-200=50
n=30 (क्योंकि 30वें दिन का जुर्माना ज्ञात करना है।)
Sn=?
हम जानते है कि
∴ S30 =27750
अतः ठेकेदार को 30 दिन के विलम्ब के बाद 27,750 रु का जुर्माना भरना पड़ेगा।
प्रश्न 16: किसी स्कूल के विद्यार्थियों को उनके समग्र शैक्षिक प्रदर्शन के लिए 7 नकद
पुरस्कार देने के लिए 700 रु की राशि रखी गई है। यदि प्रत्येक पुरस्कार अपने से ठीक
पहले पुरस्कार से 20 रु कम है ,तो प्रत्येक पुरस्कार का मान ज्ञात कीजिए।
हल: प्रश्नानुसार,
n=7 (क्योंकि कुल पुरस्कारों की संख्या 7 है।)
Sn=700 (क्योंकि कुल पुरस्कार राशि 700 रु है।)
d=−20 (क्योंकि प्रत्येक पुरस्कार राशि पहले वाली से 20 रु कम है।)
a=?
अब हम जानते है कि
2a=200+120
∴ a=160
अतः सातो पुरस्कार राशि निम्नानुसार होगी –
160, 140, 120, 100, 80, 60, 40
प्रश्न 17: एक स्कूल के विद्यार्थियों ने वायु प्रदूषण कम करने के लिए स्कूल के अंदर और
बाहर पेड़ लगाने के बारे में सोचा। यह निर्णय लिया गया कि प्रत्येक कक्षा का प्रत्येक
अनुभाग अपनी कक्षा की संख्या के बराबर पेड़ लगाएगा। उदाहरणार्थ ,कक्षा I का एक
अनुभाग 1 पेड़ लगाएगा ,कक्षा II का एक अनुभाग 2 पेड़ लगाएगा ,कक्षा III का एक
अनुभाग 3 पेड़ लगाएगा, इत्यादि और ऐसा कक्षा XII तक के लिए चलता रहेगा। प्रत्येक
कक्षा के तीन अनुभाग है। इस स्कूल के विद्यार्थियों द्वारा लगाए गए कुल पेड़ों की संख्या
कितनी होगी ?
हल: प्रश्नानुसार प्रत्येक कक्षा के तीन अनुभाग है।
अतः कक्षा 1 के तीनों अनुभागों द्वारा लगाए गए पेड़ =(1+1+1)=3
कक्षा 2 के तीनों अनुभागों द्वारा लगाए गए पेड़ =(2+2+2)=6
कक्षा 3 के तीनों अनुभागों द्वारा लगाए गए पेड़ =(3+3+3)=9
इसी प्रकार
कक्षा 12 के तीनों अनुभागों द्वारा लगाए गए पेड़ =(12+12+12)=36
अतः प्राप्त A.P.
3, 6, 9, …., 36
यहां a=3,
an(या l)=36 तथा
n=12 (क्योंकि कुल 12 कक्षाऐं है।)
कुल पेड़ो की संख्या ज्ञात करने के लिए हमे प्राप्त A.P. का कुल योग ज्ञात करना होगा।
अब हम जानते है कि
S12=6[39] =234
अतः स्कूल के विद्यार्थियों द्वारा लगाए गए कुल पेड़ों की संख्या 234 होगी।
प्रश्न 18: केंद्र A से प्रारम्भ करते हुए ,बारी-बारी से केन्द्रो A और B को लेते हुए ,त्रिज्याओं
0.5 cm, 1.0 cm, 1.5 cm, 2.0 cm,…. वाले उत्तरोत्तर अर्धवृतों को खींचकर एक सर्पिल
(spiral) बनाया गया है ,जैसाकि आकृति 5.4 में दर्शाया गया है। तेरह क्रमागत अर्धवृतों
से बने इस सर्पिल की कुल लम्बाई क्या है ?(Π=22/7 लीजिए।)
[संकेत : क्रमशः A ,B ,A ,B ,…वाले अर्धवृतों की लम्बाईयाँ l1, l2, l3, l4 है। ]
हल: हम जानते है कि अर्धवृत की लम्बाई (या अर्धपरिधि)= Πr
दिया है –
r1=0.5 cm, r2=1.0 cm, r3=1.5 cm, r4=2.0 cm…..
केन्द्र A वाले पहले अर्धवृत की लम्बाई ( l1 )
केन्द्र B वाले दूसरे अर्धवृत की लम्बाई ( l2 )
केन्द्र A वाले तीसरे अर्धवृत की लम्बाई ( l3 )
केन्द्र B वाले चौथे अर्धवृत की लम्बाई ( l4 )
अतः प्राप्त A.P.
प्राप्त A.P. से
तथा प्रश्नानुसार , n=13
अब हम जानते है कि
S13= 13×11=143
अतः तेरह क्रमागत अर्धवृतों से बने सर्पिल की कुल लम्बाई 143 cm है।
प्रश्न 19: 200 लट्ठों (logs) को ढेरी के रूप में इस प्रकार रखा जाता है : सबसे नीचे वाली
पंक्ति में 20 लट्ठे ,उससे अगली पंक्ति में 19 लट्ठे ,उससे अगली पंक्ति में 18 लट्ठे ,इत्यादि
(देखिये आकृति 5.5)। ये 200 लट्ठे कितनी पंक्तियों में रखे गए है तथा सबसे ऊपरी पंक्ति
में कितने लट्ठे है ?
आकृति 5.5 |
हल: लट्ठों को रखने की स्थिति के अनुसार हमे निम्न A.P. प्राप्त होगी –
20, 19, 18, 17, ….
यहां a=20 , d=19−20=−1
चूँकि कुल 200 लट्ठे है।
∴ Sn=200
अब कुल पंक्तियों की संख्या ज्ञात करने के लिए हमें n का मान ज्ञात करना होगा।
अब हम जानते है कि
400=41n−n2
n2−41n+400=0
मध्य पद को विभक्त करने पर
n2−16n−25n+400=0
n(n−16)−25(n−16)=0
(n−16)(n−25)=0
यहां या तो n−16=0 या n−25=0
या तो n=16 या n=25
n=16 लेने पर
सूत्र an=a+(n−1)d से
a16=20+(16-1)(-1)
a16=20−15=5
n=25 लेने पर
a25=20+(25-1)(-1)
a25=20−24=−4
अब अंतिम पद −4 तो नहीं हो सकता क्योंकि लट्ठों की संख्या ऋणात्मक नहीं हो सकती।
अतः 200 लट्ठे 16 पंक्तियों में रखे गए है तथा सबसे ऊपरी पंक्ति में 5 लट्ठे है।
प्रश्न 20: एक आलू दौड़ (potato race) में , प्रारंभिक स्थान पर एक बाल्टी रखी हुई है ,जो
पहले आलू से 5m की दूरी पर है ,तथा अन्य आलुओं को एक सीधी रेखा में परस्पर 3m की
दूरियों पर रखा गया है। इस रेखा पर 10 आलू रखे गए है (देखिये आकृति 5.6)।
आकृति 5.6 |
प्रत्येक प्रतियोगी बाल्टी से चलना प्रारंभ करती है ,निकटतम आलू को उठाती है ,उसे
लेकर वापस आकर दौड़कर बाल्टी में डालती है ,दूसरा आलू उठाने के लिए वापस
दौड़ती है ,उसे उठाकर वापस बाल्टी में डालती है ,और वह ऐसा तब तक करती रहती
है ,जब तक सभी आलू बाल्टी में न आ जाए। इसमें प्रतियोगी को कुल कितनी दूरी दौड़नी
पड़ेगी ?
[संकेत : पहले और दूसरे आलुओं को उठाकर बाल्टी में डालने तक दौड़ी गई दूरी =
2×5+2×(5+3) है। ]
हल: पहले आलु को उठाकर बाल्टी में डालने तक दौड़ी गई दूरी
=2×5=10 m
दूसरे आलु को उठाकर बाल्टी में डालने तक दौड़ी गई दूरी
=2×(5+3)=16 m
तीसरे आलु को उठाकर बाल्टी में डालने तक दौड़ी गई दूरी
=2×(5+3+3)=22 m
इस प्रकार से प्राप्त A.P. निम्न होगी –
10, 16, 22, ….., 10 पदों तक
यहां a=10, d=16−10=6,
n=10, S10 =?
अब हम जानते है कि
⇒ S10=5[74]=370
अतः प्रतियोगी को कुल 370m की दूरी दौड़नी पड़ेगी।
READ MORE…
NCERT MATHS FOR CLASS 10 IN HINDI